
BJP ने लीक किए TMC के अंदरूनी झगड़े के वीडियो, सरेआम भिड़े नेता – ममता बनर्जी ने दी शांति की अपील
भाजपा ने दिखाई तृणमूल की कलह की तस्वीरें, सोशल मीडिया पर मचा बवाल, ममता बनर्जी ने वरिष्ठ नेताओं से की संयम बरतने की गुज़ारिश – बंगाल की राजनीति में गर्मी तेज
कोलकाता: पश्चिम बंगाल की राजनीति में एक बार फिर गरमाहट देखने को मिली जब भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने तृणमूल कांग्रेस (TMC) के अंदरूनी कलह के कुछ वीडियो सार्वजनिक कर दिए। इन वीडियो में पार्टी के वरिष्ठ नेता आपस में तीखी बहस और झगड़े में उलझे नजर आ रहे हैं। वीडियो सामने आते ही राजनीतिक गलियारों में हलचल मच गई और सोशल मीडिया पर यह मुद्दा तेजी से वायरल हो गया।
बीजेपी के अनुसार, यह वीडियो TMC के “वास्तविक चेहरे” को उजागर करते हैं और बताते हैं कि पार्टी के भीतर कितना असंतोष और भ्रम फैला हुआ है। वहीं TMC के कुछ नेताओं ने इन वीडियो को “साजिश” और “भ्रम फैलाने की कोशिश” करार दिया है, लेकिन जनता के बीच इनकी गूंज साफ सुनाई दे रही है।
वीडियो में क्या है?
लीक हुए वीडियो में तृणमूल कांग्रेस के कुछ वरिष्ठ नेता पार्टी की रणनीति, उम्मीदवार चयन और संगठन के कामकाज को लेकर एक-दूसरे पर आरोप लगाते दिखाई दे रहे हैं। यह झगड़ा बंद कमरों तक सीमित नहीं रहा बल्कि खुली बैठकों में भी इसकी गूंज सुनाई दी। वीडियो में नेताओं के बीच तीखी बहस, टकराव और असहमति साफ तौर पर देखी जा सकती है।
बीजेपी का बयान:
बीजेपी ने इन वीडियो को अपने आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल पर शेयर करते हुए लिखा, “तृणमूल कांग्रेस अब खुद ही अपनी जंग लड़ रही है। ममता बनर्जी की पार्टी अंदर से बिखर रही है और जनता को धोखा देने का सच सामने आ चुका है।”
बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष ने दावा किया कि TMC के नेता एक-दूसरे से इतने नाराज़ हैं कि अब पार्टी को एकजुट रखना ममता बनर्जी के लिए असंभव हो गया है।
ममता बनर्जी की प्रतिक्रिया:
हालात को बिगड़ता देख TMC प्रमुख ममता बनर्जी ने पार्टी नेताओं को शांत रहने और मीडिया में बयानबाज़ी से बचने की अपील की। उन्होंने कहा, “हमारे दुश्मन हमें आपस में लड़ते हुए देखना चाहते हैं। लेकिन हमें समझदारी से काम लेना होगा। यह समय एकजुट रहने का है, ना कि विभाजित होने का।”
ममता की यह अपील ऐसे समय आई है जब लोकसभा चुनाव करीब हैं और विपक्षी दल TMC को घेरने का कोई मौका नहीं छोड़ रहे।
राजनीतिक विश्लेषण:
विशेषज्ञों का मानना है कि यह घटना TMC की छवि को नुकसान पहुंचा सकती है, खासकर तब जब बीजेपी इस मुद्दे को जनता के सामने प्रभावी ढंग से रख रही है। राजनीतिक विश्लेषक सुमन दे कहते हैं, “यह मामला दर्शाता है कि तृणमूल कांग्रेस में आपसी समन्वय की कमी बढ़ रही है। अगर ममता बनर्जी समय रहते नियंत्रण नहीं कर पाईं, तो विपक्ष इसे बड़ा मुद्दा बना सकता है।”
निष्कर्ष:
पश्चिम बंगाल की राजनीति में यह घटना एक बड़ा मोड़ साबित हो सकती है। बीजेपी ने मौके का फायदा उठाते हुए जनता के बीच TMC की छवि को कमजोर करने की कोशिश की है, जबकि ममता बनर्जी अभी भी स्थिति को संभालने में जुटी हैं। अब देखना यह है कि आने वाले दिनों में यह विवाद पार्टी को कितना प्रभावित करता है और क्या ममता बनर्जी अपनी पार्टी को एकजुट रख पाती हैं या नहीं।